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एहसान !!

इंतज़ार है तेरी एक झलक का |
जानता हूं तेरे पास काम बहुत है ||

व्यस्त है तू अपने चाहने वालो में |
माना की जग मे तेरा नाम बहुत है ||

तो क्या जो टूट रहा कोई इंतज़ार में |
तेरे लिये ये भी आम बहुत है ||

बिता ले कुछ वक़्त हमारे साथ भी |
दिल में हमारे भी अरमान बहुत है ||

रूबरू है तू मेरे इस सफर से
फिर भी तू अनजान बहुत है

हो सके ये आखिरी सफर हो मेरा |
क्योंकि रास्ते में मेरे तूफान बहुत है ||

बिखेर दे अपनी हँसी की चमक |
राहें मेरी सुनसान बहुत है ||

भूल न पायूँगा तुझे मर कर भी |
मुझ पर तेरे एहसान बहुत है ||

Author:

Not organized, But you will not find it messy. Not punctual, But will be there at right Time. Not supportive, But will be there, when needed. Not a writer, But you will find this interesting.

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